चाय के साथ-साथ कुछ कवितायें भी हो जाये तो क्या कहने...

Saturday, March 30, 2013

जवाब भी तो मेरे अनुरुप होंगें...



ऊँ नमः शिवाय...

मेरे और तुम्हारे बीच
एक मौन पसरा हुआ है
अनन्तकाल से
मगर फिर भी 
मै समझती हूँ, तुम्हारे इस
मौन की परिभाषा
मेरे हर सवाल पर-
तुम मौन ही रहते हो-
क्योंकि तुम जानते हो-
जवाब भी तो-
मुझे मेरे अनुरुप ही चाहिये

तुम कुछ पूछते नही
मगर मै सब बताती हूँ तुम्हें
मुझे पता है तुम्हारी ये चुप्पी भी
मेरी हाँ मे हाँ ही होगी
मगर फिर भी
कुछ तो होगा अन्त
इस चुप्पी का
कब तुम्हारे पथरीले होंठ
हिलेंगे और तुम बाहर आओगे
इस गहरे मौन से
अनन्तकाल से बस मै ही
कर रही हूँ सवालों पर सवाल
और जवाब?
बस मेरे ही होते हैं...

शानू

Tuesday, March 26, 2013

हुये तुम मेरे मै तुम्हारी होली…


होली मुबारक हो आप सभी को...

रंगों की होली सजायें रगोंली
हुये तुम मेरे मै तुम्हारी होली…

आओ मिटा दें दूरियाँ दिलों से
ज़िंदगी सजा दें आज रंगों से
भुला दें गिले-शिकवे सारे औ’
रंगों की होली सजायें रगोंली
हुये तुम मेरे मै तुम्हारी होली…

ज़िंदगी की बाज़ी लगा दी मगर
न हम हारे न तुम जीत पाये
चलो आज कहना ये मेरा मानों
छोड़ के नफ़रतों की दुनियाँ औ’
खुशी के रंगों से सजायें रंगोली
हुये तुम मेरे मै तुम्हारी होली…

Friday, March 1, 2013

उसने कहा तो लिख डाला...

कहोगे कि कोई नया संग्रह बन रहा है या कोई बात है? किसी से प्यार का चक्कर तो नही। अब बताओ  ये तमाम बातें होंगी क्या तभी कविता बनेगी। ये फ़ेसबुक भी बड़ी अज़ीब जगह है दोस्तों... न लिखने दे न पढ़े आखिर कोई करे तो क्या करे :(

दो चार ठौ कविता बन पड़ी सो है सो यहीं पर ठेले जा रहे हैं... :)



उसने कहा तुम्हारी हँसी में 
मुझे दर्द सा क्यों लगता है?
क्या बेवजह कोई 
इतना हँसता है?
मुझे भी लगा किस बात पर 
हँस रही हूँ मैं!
कि राज़ दिल के सबको
कह रही हूँ मै--
किसी की याद हद से ज्यादा आने लगे
कोई अंदर से गहरा सताने लगे
तो ऎ दिल
कोशिश कर
खुद को समझाने की
कोशिश कर
खुद को हँसाने की...
शानू( बस यूँही) एक उदास शाम... मै... और..मेरी चाय :)





(२)


बस यही परिणति है 

किसी के मासूम एहसासों की
कि सिसकी बन के 
शीशे सी पिघलती रही याद सीनें में
और कहीं दूर उसे
खबर तक न हो पाई...

(३)


जमीं पर ही चलते देखा है अभी तक
मेरे पैरो के पँखों को तुमने देखा नही है
ऎ आसमाँ इतना गुरुर भी अच्छा नही
मेरे हौसलों की उड़ान अभी बाकी है...


शानू

अंतिम सत्य